फर्रुखाबाद. कानपुर रेंज के पुलिस महानिरीक्षक (आईजी) मोहित अग्रवाल ने उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद में बेटी के जन्मदिन पर पार्टी के नाम पर 23 बच्चों को घर बुलाकर बंधक बनाने वाले आरोपी दंपती सुभाष बाथम व रूबी की सालभर की अनाथ बेटी गौरी की परवरिश की जिम्मेदारी लेने का निर्णय लिया है। बीते 30 जनवरी की रात करीब 10 घंटे के अभियान के बाद पुलिस ने सुभाष का एनकाउंटर कर दिया था, जबकि उसकी पत्नी की गुस्साए ग्रामीणों ने पीट पीटकर हत्या कर दी थी। आईजी ने कहा- मैं बच्ची की शिक्षा का पूरा खर्च उठाऊंगा। उसे अपनी ही तरह आईपीएस अधिकारी बनते हुए देखना चाहता हूं।
अभी महिला सिपाही कर रही देखभाल
आईजी मोहित अग्रवाल ने कहा- इस अनाथ बच्ची गौरी की मासूमियत देखकर पुलिस विभाग का दिल पसीज गया है। बच्ची को फिलहाल हमने फर्रूखाबाद की एक महिला पुलिस कर्मचारी रजनी के पास रखा है। उसकी अच्छी देखभाल हो रही है। कहा, मेरी ख्वाहिश है कि बच्ची को मैं अपनी तरह एक आईपीएस अफसर बनाऊं। मैं बैंक में एक खाता खुलवा रहा हूं, जिसमें मैं हमेशा पैसे डालता रहूंगा ताकि गौरी की शिक्षा और परवरिश में कोई दिक्कत ना आए।
अग्रवाल ने कहा कि गौरी को गोद लेने के लिए देश-विदेश से कई लोगों ने संपर्क किया है। लेकिन हम पूरी जांच और कानूनी प्रक्रिया पूरी किए बगैर उसे किसी को नहीं दे सकते हैं। अगर कोई परिवार उसे गोद लेता भी है तो मैं उसकी परवरिश पर व्यक्तिगत रूप से नजर रखूंगा। अग्रवाल ने कहा कि हमारा प्रयास होगा कि इस बच्ची को पुलिस में कार्यरत कोई दम्पत्ति गोद लें ले ताकि उसे बेहतर परवरिश मिल सके।
यह है पूरा मामला
फर्रूखाबाद जिले के करथिया गांव में बीते गुरुवार (30 जनवरी) को बेटी के जन्मदिन की पार्टी के नाम पर सुभाष बाथम ने 23 बच्चों को घर बुलाकर करीब 12 घंटे तक उन्हें तहखाने में बंद रखा था। पुलिस ने करीब 10 घंटे लंबे अभियान के बाद मुठभेड़ में मार गिराया था। उसी दौरान भागने का प्रयास कर रही रूबी ग्रामीणों के हाथ लग गई थी, जिनकी पिटाई से उसकी मौत हो गई। अभियान में सभी बच्चों को सुरक्षित बचा लिया गया था।
Download Dainik Bhaskar App to read Latest Hindi News Today
from Dainik Bhaskar https://ift.tt/2RS53EJ
0 comments: