संभल. दिल्ली के शाहीन बाग की तर्ज पर उत्तर प्रदेश के संभल जिले में नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के विरोध में बीते 20 दिनों से धरना प्रदर्शन जारी है। महिलाएं सीएए को वापस लिए जाने की मांग कर रही हैं। वहीं, जिला प्रशासन ने प्रदर्शनकारियों पर कार्रवाई शुरू कर दी है। पुलिस ने बताया कि, धरने पर बैठे 11 लोगों को 50-50 लाख के निजी मुचलके का नोटिस दिया गया है। इन लोगों पर धरने को उकसाने का आरोप है।
जिला प्रशासन ने किया था संवाद पर परिणाम बेनतीजा
संभल जिले के नखासा थाना क्षेत्र के पक्का बाग स्थित हुसैनी मार्ग पर बीते 20 दिनों से महिलाएं धरने पर बैठी हैं। जिला प्रशासन ने पूर्व में महिलाओं से संवाद कर प्रदर्शन को समाप्त कराने का प्रयास किया था, लेकिन किसी ने उनकी एक न सुनी। अब प्रशासन ने प्रदर्शन को उकसाने वालों को चिन्हित कर उन्हें 107/16 के तहत नोटिस जारी किया है। सभी को 50 लाख रुपए के निजी बांड पर हस्ताक्षर करने के लिए कहा गया है। यह भी कहा गया है कि, यदि कोई अप्रिय घटना या सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाया गया तो वे जिम्मेदार होंगे।
यहां हुई थी उग्र हिंसा, दो की गई थी जान
बीते 19 व 20 दिसंबर को संभल में नागरिकता संशोधन कानून व राष्ट्रीय नागरिकता रजिस्टर के विरोध में हिंसा हुई थी। हिंसा के दौरान रोडवेज की दो बसों के अलावा तमाम वाहन को आग के हवाले कर दिया गया था। सार्वजनिक संपत्तियों को नुकसान पहुंचाया गया था। यहां पथराव के बाद पुलिस ने लाठीचार्ज कर स्थिति पर काबू पाया था। इस दौरान गोली लगने से दो लोगों की मौत भी हुई थी। मामले की जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया है।
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