उत्तरप्रदेश के कानपुर में गुरुवार रात दबिश देने गई पुलिस टीम पर बदमाशों ने अंधाधुंध गोलियां चलाईं। इसमें सर्कल ऑफिसर (डीएसपी) और 4 सब इंस्पेक्टरसमेत 8 पुलिसकर्मी शहीद हो गए। बताया जा रहा है कि पुलिस बिठूर थाना इलाके के एक गांव मेंहिस्ट्री शीटर विकास दुबे को पकड़ने गई थी, लेकिन उसकी गैंग ने पुलिस पर घात लगाकर हमला किया और विकास दुबे फरार हो गया।बदमाश पुलिस के कई असलहे भी लूट ले गए।
डीजीपी एचसी अवस्थी ने बताया कि विकास दुबे के खिलाफ कानपुर के राहुल तिवारी ने हत्या के प्रयास का केस दर्ज कराया था। इसके बाद पुलिस उसे पकड़ने के लिए बिकरू गांव गई थी। पुलिस को रोकने के लिए बदमाशों ने पहले से ही जेसीबी वगैरह से रास्ता रोक रखा था। अचानक छत से फायरिंग शुरू कर दी गई। वहीं, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एसटीएफ की टीम को कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। पुलिस ने यूपी के सभी बॉर्डर सील कर दिए हैं।
ये पुलिसकर्मी शहीद हुए,
डीएसपीबिल्हौर देवेंद्र मिश्र, 4 सब इंस्पेक्टर, 3 सिपाही शहीद हुए। इसके अलावा बिठूर थाना प्रभारी कौशलेंद्र प्रताप सिंह समेत 6 पुलिसकर्मियों को गोली लगी है। इनका इलाज रीजेंसी हॉस्पिटल में चल रहा है।
कौन है विकास दुबे?
विकास दुबे उत्तरप्रदेश का कुख्यात बदमाश है। उसने 2001 में थाने में घुसकर भाजपा नेता और राज्यमंत्री संतोष शुक्ला की हत्या की थी। वह थाने में घुसकर पुलिसकर्मी समेत कई लोगों की हत्या कर चुका है। विकास पर 60 से ज्यादा मामले दर्ज हैं। वह प्रधान और जिला पंचायत सदस्य भी रह चुका है।
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